
जबलपुर। भारतीय फंडामेंटल राइट्स एक्टिविस्ट्स एसोसिएशन के प्रदेश समन्वयक अखिलेश त्रिपाठी ने प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री व मध्य प्रदेश के मुख्य सचिव को शिकायत भेजी है। अधिवक्ता पंकज दुबे के जरिए भेजी गई शिकायत में कहा गया है कि जब दिल्ली व देश के अन्य हिस्सों में कोरोना संक्रमण फैलाने के लिए कई लोगों के खिलाफ राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (एनएसए) व एपिडेमिक डिजीज एक्ट के तहत कार्रवाई की गई, तो फिर नगर निगम, जबलपुर के अपर आयुक्तराकेश अयाची के खिलाफ कार्रवाई क्यों नहीं की गई? अधिवक्ता दुबे ने शिकायत में कहा कि लोक स्वास्थ्य मौलिक अधिकारों की परिधि में आता है।
ननि अपर आयुक्तपर एनएसए की कार्रवाई नहीं करने पर पीएम-सीएम से शिकायत
अधिवक्ता दुबे का कहना है कि नगर निगम, जबलपुर के अपर आयुक्तराकेश अयाची के ऊपर नगर निगम क्षेत्र, जबलपुर सम्भाग और जबलपुर जिले में वैवाहिक कार्यक्रम करवाने के लिए अनुमति पर विचार करने का दायित्व था। इसके बावजूद 30 जून 2020 को उनके परिवार के एक विवाह समारोह में 400 व्यक्तिशामिल हो गए। इनमें वीआईपी और जिम्मेदार अधिकारी भी थे। जिस होटल गुलजार में यह कार्यक्रम हुआ, उसके स्टाफ के नौ व्यक्तिकोविड-19 संक्रमित पाए गए। इसके बाद रोजाना पॉजिटिव मरीजों की संख्या बढ़ रही है।

सुलगते सवाल
- कोरोना संक्रमण के वक्तजब सरकार ने शादी-पार्टी को लेकर सख्त गाइडलाइन दी है, तब एक ही शादी से जुड़े चार जगह आयोजन हुए।
- वैवाहिक आयोजन में अधिकतम 50 लोगों को शामिल होने की अनुमति है। होटल में आयोजित पार्टी में चार सौ से ज्यादा लोग शामिल हुए।
- भेड़ाघाट रोड स्थित एक स्थान पर आयोजित शादी की रस्मों में पचास से ज्यादा लोग शामिल हुए। इस जगह पर सामूहिक भोज हुआ।
- पार्टी के बाद होटल का स्टाफ कोरोना संक्रमित पाया गया। उसके बाद भी होटल में लगातार कई पार्टियां और आयोजन होते रहे।
- शादी-पार्टी में शामिल दो पुलिस इंस्पेक्टर, अपर आयुक्तके पॉजिटिव आने और सम्पर्क में होने के बाद भी क्वारंटीन नहीं हुए।
- शादी में बड़े प्रशासनिक, पुलिस, नगर निगम के अधिकारी सहित कुछ राजनेता शामिल हुए। सभी ने नियमों के उल्लंघन की अनदेखी की।
- सोशल डिस्टेंसिंग टूटने की सूचना होटल की ओर से प्रशासन को नहीं दी गई। भीड़ रोकने के प्रयास नहीं किए गए।
- पहले संक्रमित मिले एक कारोबारी पर कड़ी कार्रवाई हुई। अधिकारी और रसूखदार होटल संचालक के मामले में कार्रवाई में हाथ बंध गए।
जानकारों का कहना है
- होटल के सीसीटीवी फुटेज जप्त करके जांच करनी चाहिए। शादी में फोटोग्राफी करने वाले व्यक्ति के कैमरे जब्त करके पार्टी में नियमों की पालना की जांच करनी चाहिए।
- होटल के सीसीटीवी फुटेज में छेड़छाड़ या सम्बंधित पार्टी के फुटेज डिलीट मिलने पर इसे सुरक्षित नहीं रखने के लिए संचालक के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई करनी चाहिए।
- जिम्मेदार पद पर होते हुए सरकार की गाइडलाइन की अनदेखी पर अपर आयुक्तके विरुद्ध अनुशासनहीनता के मामले में निलम्बन की कार्रवाई की जाना चाहिए।
- शादी-पार्टी के सीसीटीवी फुटेज, छायाचित्रों ओर वीडियो की जांच करके उस दौरान मौजूद रहे जिम्मेदार अधिकारियों से स्पष्टीकरण तलब किया जाना चाहिए।
- शादी से जुड़े आयोजन जिस-जिस जगह पर हुए सभी को वीडियो-फोटो के जरिए चिन्हित करके संबंधित स्थानों के जिम्मेदारों पर लापरवाही सुनिश्चित करना चाहिए।
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