
लाली कोष्टा@जबलपुर। जबलपुर की बेटी रहीं तब लिखने का शौक था, विवाह के बाद माया नगरी मुंबई पहुंचीं तो लगा अब यहां क्या होगा, तब उन्होंने शहर की सहेलियों को जोडऩे के लिए सोशल मीडिया का सहारा लिया। जिसमें उन्हें खुद की पहचान दिलाने का वादा किया और पूरा भी किया। आज यामिनी सिंह सोशल मीडिया की ऐसी हस्ती हैं, जिसे फेसबुक इंडिया ने बुलाकर सम्मान किया है।सोशल मीडिया पर बनाया ग्रुपसोशल मीडिया से अपनी पावर पहचानी फिर जबलपुर से अटूट प्रेम के चलते (एमओजे) मॉमीज ऑफ जबलपुर ग्रुप की स्थापना की।
यामिनी सिंह ने महिलाओं को दिलाई खुद की पहचान, 27 हजार महिलाओं का ग्रुप बनाकर दिया प्लेटफार्म

जो अत्याधिक सफल रहा। आज इस ग्रुप से 27000 महिलाएं जुड़ी हुई हैं जो न सिर्फ पेरेंटिंग और रोजमर्रा की समस्याओं पर एकदूसरे को सलाह और संबल देती हैं बल्कि रोजग़ार के नए मार्ग तलाश कर खुद की पहचान बना रहीं हैं। खुद फेसबुक द्वारा यामिनी को दिल्ली बुला कर (एमओजे) मॉमीज ऑफ जबलपुर के लिए उनका सम्मान किया। जो ये साबित करता है कि जबलपर के लिए किया गया उनका प्रयास ,अंतरराष्ट्रीय स्तर पर शहर को नई पहचान दे रहा है।ऐसे की थी शुरुआत यामिनी सिंह बताती हैं कि वे पिछले 15 साल से जबलपुर से बाहर हैं। कर्मभूमि मुम्बई को बना रखा है पर कहती हैं कि जन्मभूमि जबलपुर से रिश्ता कभी नहीं टूटेगा।
लिखने पढऩे का शौक हमेशा रहा इसलिए इंटरनेट से दोस्ती जल्दी हो गईऔर सोशल मीडिया पर आते ही जैसे नई राह मिल गयी। फेसबुक पर लिखी पोस्ट्स पढ़ के दोस्तों ने लेखन कार्य को गंभीरता से लेने कहा तो ब्लॉग्स लिखने शुरू किए। मुम्बई शहर में टैलेंट की हमेशा कद्र होती है इसलिए जल्दी ही सेलेब्रिटीज़ के साथ इवेंट्स और इंटरव्यू करने का मौका मिलने लगा। जिसमें टिस्का चोपड़ा, लारा दत्ता, महेश भूपति, शेफ संजीव कपूर , बोमन ईरानी, नेहा धूपिया, गीता फोगाट इत्यादि के साथ शिरकत की।
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