JDA के इस कंपार्टमेंट में पेयजल की किल्लत दूर करने में लग गया इतना वक्त

जबलपुर. सरकारी भवनों में जब कोई महंगी कीमत पर फ्लैट लेता है या किराये पर दुकानें आवंटित कराता है तो यह मान कर चलता है कि उसे सारी सुविधाएं मुहैया होंगी। लेकिन जब यहां भी संकट हो तो कहां जाए। अब जबलपुर विकास प्राधिकरण के इस अपार्टमेंट में रहने वाले ही जानते होंगे कि कैसे उन्होंने बीता महीना गुजारा। उन्हें पीने के पानी तक के लिए इधर-उधर भटकना पड़ा।

जबलपुर विकास प्राधिकरण की बिल्डिंग में डेढ़ माह तक किरायेदारों, निजी, सरकारी व दुकानदारों को पानी नहीं मिला। डेढ़ माह तक जेडीए और निगम सुधार कार्य ही करता रहा। शुरूआत में लोगों को बताया गया कि पंप में खराबी है। बाद में पता चला कि पंप नहीं दिक्कत पाइपलाइन में है। फिर भी डेढ महीने लग गए पाइप लाइन की मरम्मत कर वाटर सप्लाई सुचारु करने के लिए। लोगों को पानी मिले या न मिले जेडीए ने किरायेदारों से किराये की वसूली बदस्तूर जारी रखी। कोई कटौती तक नहीं की गई।

आलम यह कि सिविक सेंटर के जेडीए के ब्लॉक नंबर 9 के चार मंजिला भवन के दुकानदार डेढ महीने तक पानी घर से लेकर आते रहे। बता दें कि इस बहुमंजिली इमारत में हर तरह के कार्यालय हैं। इनमें लगभग 300 से ज्यादा कर्मचारी व अधिकारी रोजाना पहुंचते हैं। निजी दुकानदार भी इस भवन में हैं। लेकिन इन दुकानदारों को तकरीबन 90 दिन तक शौचालयों में भी पानी नहीं मिला।



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